महाराष्ट्र: गढ़चिरौली में भीषण मुठभेड़, भारी मात्रा में विस्फोटक छोड़कर भागे नक्सली

महाराष्ट्र (Maharashtra) के गढ़चिरौली (Gadchiroli) जिले में नक्सली मुठभेड़ (Naxal Encounter) हुई है। इस दौरान पुलिस को नक्सलियों (Naxalites) की बड़ी साजिश को नाकाम करने में सफलता मिली है।

Naxal Encounter

मुठभेड़ (Naxal Encounter) के बाद जवानों ने तलाशी अभियान चलाया। जिसमें मुठभेड़स्थल से आईईडी, कुकर बम, बड़ी मात्रा में पिट्टू और नक्सल साहित्य बरामद हुए।

महाराष्ट्र (Maharashtra) के गढ़चिरौली (Gadchiroli) जिले में नक्सली मुठभेड़ (Naxal Encounter) हुई है। इस दौरान पुलिस को नक्सलियों (Naxalites) की बड़ी साजिश को नाकाम करने में सफलता मिली है। जिले के भामरागड़ के मडवेली जंगल में पुलिस और नक्सलियों के बीच यह मुठभेड़ हुई।

मुठभेड़ के बाद घटनास्थल से बड़ी मात्रा में विस्फोटक के साथ नक्सल साहित्य और अन्य सामान जब्त किया गया। विस्फोटक को तत्काल नष्ट कर दिया गया। स्थापना सप्ताह के मद्देनजर नक्सली किसी बड़ी वारदात को अंजाम देने की फिराक में थे।

जानकारी के अनुसार, एंटी नक्सल अभियान के तहत जवान 19 सितंबर को ताडगांव के मड़वेली जंगलों में सर्चिंग कर रहे थे। इस दौरान दोपहर करीब 12.30 बजे पेरमिली दलम के नक्सलियों ने जवानों पर ताबड़तोड़ गोलीबारी शुरू कर दी।

Corona Update: भारत में संक्रमितों का आंकड़ा 3 करोड़ 35 लाख के पार, दिल्ली में आए 20 नए केस

इसके बाद पुलिस को जवानों ने भी मोर्चा संभाल लिया और नक्सलियों (Naxalites) के हमले का मुंहतोड़ जवाब देते हुए फायरींग की। पुलिस को भारी पड़ता देख नक्सली घने जंगलों का फायदा उठाकर भाग निकले।

मुठभेड़ (Naxal Encounter) के बाद जवानों ने तलाशी अभियान चलाया। जिसमें मुठभेड़स्थल से आईईडी, कुकर बम, बड़ी मात्रा में पिट्टू और नक्सल साहित्य बरामद हुए। आईईडी और कुकर बम को घटनास्थल पर ही विस्फोट कर नष्ट कर दिया गया। इसके साथ ही जवानों ने वहां मौजूद नक्सलियों के ठिकाने को भी ध्वस्त कर दिया।

बता दें कि नक्सली 21 सितंबर से 28 सितंबर तक स्थापना सप्ताह मना रहे हैं। आमतौर पर नक्सली इस सप्ताह में अपनी सक्रियता बढ़ा देते हैं। 21 सितंबर, 2004 को नक्सली संगठन सीपीआई एमएल, पीपुल्स वार ग्रुप और एमसीसीआई का विलय हुआ था।

ये भी देखें-

तीनों माओवादी संगठनों ने मिलकर भाकपा माओवादी नामक नए माओवादी संगठन की स्थापना की थी। इसके बाद से ही माओवादी अपने संगठन का स्थापना सप्ताह मनाते हैं। इसके लिए वे अपने प्रभाव वाले इलाकों में एक हफ्ते तक जगह-जगह पोस्टर और बैनर लगाते हैं। वे स्थापना दिवस के मौके पर किसी बड़ी हिंसक घटना को अंजाम देने की फिराक में रहते हैं।

Hindi News के लिए हमारे साथ फेसबुक, ट्विटर, इंस्टाग्राम, यूट्यूब पर जुड़ें और डाउनलोड करें Hindi News App

यह भी पढ़ें